Bihar: कैमूर जिले के मोहनियां अनुमंडल अस्पताल में इलाज को लेकर लापरवाही बराबर चर्चा में रहा है। इसी बिच एक नया मामला एक नवजात शिशु के मौत से जुड़ा हुआ है। दरसल स्थानीय थाना क्षेत्र के लूरपुरवा ग्राम निवासी चंदन कुमार की पत्नी सुनीता देवी को प्रसव पीड़ा के बाद स्वजन शुक्रवार को सुबह में अनुमंडल अस्पताल ले गए। जहां दोपहर में उन्होंने एक बच्चे को जन्म दिया। वही 4 घंटे बाद चिकित्सको ने नवजात शिशु की स्थिति गंभीर बताकर उसे रेफर कर दिया।
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जिसके बाद स्वजन नवजात को लेकर आशा निजी क्लिनिक में गए। जहां बच्चे की मौत हो गयी। स्वजनों का आरोप है कि चिकित्सक ने काफी देर बाद बच्चे को रेफर किया। जिससे उसकी मौत हो गयी। वहीं यह बात सामने आई है कि आशा अनुमंडल अस्पताल से मरीजों को सेटिंग वाले निजी अस्पताल में ले जा रही हैं। जहां मरीजों का शोषण किया जाता है।
नवजात की मौत के बाद स्वजन प्रसूता सुनीता को घर ले गए। रात में उसकी स्थिति बिगड़ने लगी। पुनः स्वजन प्रसूता को लेकर अनुमंडल अस्पताल पहुंचे। जहां उसका इलाज चल रहा है। सवाल तो यह उठता है कि बिना जाँच के कैसे अनुमंडल अस्पताल से छुट्टी दी जा रही है। यह चर्चा का विषय है।
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