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दरअसल गुरुवार को दिल्ली से पटना पहुंचने के बाद उपेंद्र कुशवाहा ने कैबिनेट विस्तार को लेकर नीतीश कुमार के बयान का हवाला देते हुए कहा कि यह अब साबित हो गया कि दोनों पार्टियों के बीच कुछ डील हुआ है मुख्यमंत्री कहते हैं कि कैबिनेट विस्तार पर फैसला तेजस्वी यादव लेंगे जो यह बताता है कि अब वह कोई फैसला नहीं ले पा रहे हैं जबकि कैबिनेट विस्तार करना सिर्फ उनका अधिकार है उनकी बातों से कहीं ना कहीं दिल की बात साबित होती दिखाई दे रही है।
19-20 फरवरी को होने वाली बैठक को लेकर जदयू नेतृत्व द्वारा अवैध घोषित किए जाने के फैसले पर उन्होंने आश्चर्य जाहिर किया और कहा कि यह मेरी समझ से बाहर है जिस बैठक में सिर्फ जदयू के कार्यकर्ता को बुलाया गया है पार्टी रोज कमजोर और बर्बाद होते जा रही है, किसी दूसरी पार्टी के लोगों को नहीं वह भी इसलिए कि कैसे जदयू को मजबूत किया जाए।
खुद के सीएम बनने की इच्छा के सवाल पर उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि अगर कोई प्रधानमंत्री बनने की सोच सकता है तो मैं मुख्यमंत्री बनने की इच्छा क्यों नहीं रख सकता, वही बीजेपी में जाने को लेकर उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि अब बिल्कुल अफवाह है मैं अपनी पार्टी जदयू में रहकर ही पार्टी को टूटने से रोकने का प्रयास कर रहा हूं।