Bihar: जमुई के लाल पुष्पेंद्र को गूगल में नौकरी मिलने से परिवार समेत पूरे गांव में खुशियों का माहौल है। दरसल गूगल ने झाझा प्रखंड क्षेत्र के बूढ़ीखाड़ गांव निवासी पुष्पेंद्र को 40 लाख सालाना पैकेज देकर डाटा साइंटिस्ट के रूप में हायर किया है। गूगल की ओर से 40 लाख का पैकेज मिलने के बाद पुष्पेंद्र के द्वारा मीडिया से बात करते हुए अपनी सफलता का सारा श्रेय अपने परिवार को दिया गया। उन्होंने कहा की हर इंजीनियर का यह सपना होता है की वह गूगल के लिए काम कर सके। सपने के पीछे हर इंजीनियर अपनी मेहनत करता है।
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आगे उन्होंने कहा की जब भी उन्हें कभी पढ़ाई में कोई दुविधा होती थी, तब उनके भाई और माता-पिता उनकी प्रेरणास्रोत बन जाते थे। पुष्पेंद्र की प्रारंभिक पढ़ाई देवघर में ही हुई है। वे बताते हैं की उनकी प्रारंभिक पढ़ाई देवघर से ही पूरी हुई है। हालांकि पुष्पेंद्र फिलहाल अपने परिवार के साथ झारखंड राज्य के देवघर में रहते हैं। आईआईटी खड़गपुर से किया तथा खड़गपुर में ही रहकर अपनी पढ़ाई कर रहे थे। करीब दो हजार से अधिक आईआईटियन छात्रों के साथ गूगल के लिए अप्लाई किया गया था। जिसका नतीजा यह हुआ कि तीन राउंड के एसेसमेंट, इंटरव्यू और कोडिंग टेस्ट के बाद मात्र 6 लड़कों का ही चयन हो सका जिसमें मेरा भी नाम शामिल था।
वही पुत्र की सफलता पर पिता हरिओम कुमार ने कहा कि बचपन से ही हमलोगों ने शिक्षा को सबसे अधिक महत्व दिया है और इसी का नतीजा है की आज मेरे पुत्र को यह सफलता मिली है। पुष्पेंद्र के पिता साधारण कांट्रेक्टर हैं, जबकि मां गृहणी हैं। पुष्पेंद्र बचपन से ही पढ़ने में काफी तेज था। प्रतिदिन 16 से 18 घंटे पढ़ाई किया करता था। अपने तीन भाई बहनों में पुष्पेंद्र बड़े है। वर्ष 2025 से पुष्पेंद्र गूगल में अपनी सेवा देंगे।