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दरसल जेल के शौचालय में उसने अपना चश्मा तोड़कर उससे हाथ, सीना व अपने नाजुक अंग को बुरी तरह जख्मी कर लिया था। ज्यादा रक्तस्राव के कारण वह शौचालय में ही बेहोश हो गया था। जेल के अस्पताल में प्राथमिक उपचार के बाद उसे एसकेएमसीएच रेफर कर दिया गया था। यहां चिकित्सकों ने उसका सफलतापूर्वक आपरेशन भी किया था, लेकिन उसकी जान नहीं बच सकी।
आपको बता दे की 05 जून को ब्रह्मपुरा थाना की पुलिस ने लक्ष्मीचौक के निकट उसे गिरफ्तार किया था। पुलिस के वरीय अधिकारियों सहित कई केंद्रीय जांच एजेंसी ने उससे पूछताछ की थी। इसके अगले दिन उसे कोर्ट के समक्ष पेश किया गया। जहां से उसे न्यायिक हिरासत में शहीद खुदीराम बोस केंद्रीय कारा भेज दिया गया था। 07 जून की शाम जब बंदियों की गिनती हो रही थी उस समय वह शौचालय में था। उसी समय उसने खुद को जख्मी कर लिया।